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Success Story: बागवानी ने ओमनारायण को बनाया करोड़पति किसान, जानिए इनकी खेती का राज

Success Story: गाँव रतुआ रतनपुर के किसान ओमनारायण कुशवाह आज पूरे प्रदेश के किसानों के लिए एक मिसाल बन चुके हैं। कभी मात्र 10 हजार पौधों से नर्सरी की शुरुआत करने वाले कुशवाह आज 12 लाख पौधों की विशाल नर्सरी के संचालक हैं। उनकी मेहनत और लगन का ही परिणाम है कि वे लगभग 10 लाख रुपये की वार्षिक आय अर्जित कर रहे हैं। यही नहीं, उनकी नर्सरी ने 8 से 12 ग्रामीणों को रोजगार देकर गाँव की अर्थव्यवस्था को भी मजबूत किया है।

Success story
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योजनाओं ने बदली किस्मत: सरकारी सहयोग का असर

ओमनारायण की सफलता मेहनत (Success Story) का परिणाम तो है ही, साथ ही सरकारी योजनाओं ने भी इसमें महत्वपूर्ण योगदान दिया। मध्यप्रदेश शासन के कृषि एवं उद्यानिकी विभाग से जुड़े अधिकारियों ने उन्हें तकनीकी मार्गदर्शन (Support) दिया और प्रशिक्षण कार्यक्रमों से परिचित कराया। इन प्रशिक्षणों में उन्होंने आधुनिक खेती, उन्नत तकनीक और नर्सरी प्रबंधन जैसे महत्वपूर्ण कौशल सीखे, जिसने आगे चलकर उनकी पूरी दिशा बदल दी।

48 लाख के ऋण से नर्सरी का विस्तार

वर्ष 2024 ओमनारायण के जीवन में एक नई छलांग लेकर आया, जब उन्होंने राष्ट्रीय बागवानी बोर्ड से 48 लाख रुपये का ऋण लेकर अपनी नर्सरी का विस्तार (Expansion) किया। पहले 2000 वर्गफीट से शुरू हुई नर्सरी आज 2 एकड़ के भव्य क्षेत्र में फैली है। यहाँ गुलाब, जरबेरा, गेंदा और नौरंगा जैसे रंग-बिरंगे फूलों के साथ-साथ कई प्रकार के फलदार पौधे भी तैयार किए जाते हैं।

कठिनाइयों में जीत: पानी की समस्या से संघर्ष

साल 2020 में जब ओमनारायण ने पॉलीहाउस नर्सरी की शुरुआत की, तब पानी की भारी कमी सबसे बड़ी चुनौती (Challenges) थी। लेकिन हार मानने के बजाय उन्होंने अपने खेत में ही कुआँ खुदवाकर स्थायी जल-स्रोत विकसित किया। समय के साथ उन्होंने अपने खेत को 8 एकड़ तक सिंचित कर लिया और हर मौसम की स्थिति को अवसर में बदल दिया—यही एक सच्चे किसान की पहचान है।


हाईब्रिड पौधों की बढ़ती मांग: किसानों के बीच भरोसेमंद नाम

आज उनके खेत में बैंगन, टमाटर, मिर्च, गिलकी, लौकी और खीरा जैसी सब्जियों के हाईब्रिड पौधों की नर्सरी तैयार होती है। वे सेमीनेस, फेजेंटा और अंकुर BNR जैसी उच्च गुणवत्ता वाली किस्मों के पौधे भोपाल सहित कई जिलों में सप्लाई करते हैं। उनकी नर्सरी अब अन्य किसानों के लिए भरोसेमंद brand बन चुकी है।


आधुनिक तकनीक की ओर: ऑनलाइन प्लेटफॉर्म की तैयारी

समय के साथ खुद को अपडेट करते हुए ओमनारायण अब अपनी नर्सरी को ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर लाने की तैयारी कर रहे हैं। इससे देशभर के किसान सीधे उनसे पौधे खरीद सकेंगे। वे जल्द ही एक बड़े पॉलीहाउस का निर्माण भी करने वाले हैं, जिसमें हर मौसम में उच्च गुणवत्ता वाले पौधों का उत्पादन (Technology) हो सकेगा।

प्रशिक्षण और नवाचार: सीखने की लगन ने बनाया खास

ओमनारायण आज भी नियमित रूप से प्रशिक्षण कार्यक्रमों में हिस्सा लेते हैं। नई तकनीक (Innovation) , नए बीज, उन्नत सिंचाई प्रणाली—वे हर विषय पर अपडेट रहते हैं। उनका मानना है कि खेती सिर्फ पारंपरिक ज्ञान का ही खेल नहीं है, बल्कि आधुनिक विज्ञान के मेल से ही किसान अधिक लाभ उठा सकता है।

सफलता का संदेश: परिश्रम और अवसर का संगम

किसान ओमनारायण कुशवाह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का आभार व्यक्त करते हुए कहते हैं “आज भी खेती सबसे लाभदायक पेशा बन सकता है, बस किसान को मेहनत करनी चाहिए और सरकारी प्रशिक्षणों का भरपूर लाभ उठाना चाहिए।” उनकी यात्रा हर किसान के लिए यह संदेश छोड़ती है कि परिश्रम और सही मार्गदर्शन मिलकर बड़े चमत्कार कर सकते हैं।

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